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घनसाली: सीमांत गांव गंगी के ग्रामीणों ने बिजली व मोबाइल टॉवर लगाने की मांग को लेकर अनिश्चितकालीन क्रमिक अनशन शुरू कर दिया है। देश आजादी से अब तक भिलंगना ब्लाक के सीमांत गांव गंगी में अभी तक बिजली व मोबाईल टा...
टिहरी:-
सरकार जहां एक तरफ सरकारी विद्यालयों को मॉडल स्कूल बनाने की बात कर रही है वहीं दूसरी ओर उत्तराखंड में विद्यालय भवनों के इतने बुरे हाल हैं कि बच्चों को जान जोखिम में डालकर पढ़ाई करनी पड़ रही है।
मामला टिहरी जनपद के सबसे बड़े विकास खंड भिलंगना का है जहां पर दर्जनों स्कूल क्षतिग्रस्त की कगार पर है लेकिन इनकी सुध लेने वाला कोई नहीं। यही हाल कोटी मगरौं स्थित राजकीय प्राथमिक विद्यालय पाल्यासौड़ के भी हैं। यहां पर शिक्षक जितनी मेहनत से बच्चों को पढ़ाने का काम कर रहे हैं काश सरकार इस विद्यालय पर थोड़ा ध्यान देती तो यहां के बच्चों को हल्की बारिश में भी घर न भागना पड़ता।
अभिभावकों और छात्रों का कहना है कि इस विद्यालय में सबसे अच्छी पढ़ाई होती है, यहां के छात्र प्रति वर्ष नवोदय विद्यालय के लिए चयनित होते हैं जबकि नवोदय में पढ़ाने वाले शिक्षकों के बच्चे भी इस विद्यालय में पढ़ते है, लेकिन हल्की बारिश से छत टपकनी शुरू हो जाती है और अब छत के हालात इतने नाजुक हो गए कि छत कब गिर जाए कुछ पता नहीं, जिस कारण गिरने का डर बना रहता है।
घनसाली: सीमांत गांव गंगी के ग्रामीणों ने बिजली व मोबाइल टॉवर लगाने की मांग को लेकर अनिश्चितकालीन क्रमिक अनशन शुरू कर दिया है। देश आजादी से अब तक भिलंगना ब्लाक के सीमांत गांव गंगी में अभी तक बिजली व मोबाईल टा...