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पलायन पर बातें नहीं, काम करके दिखा रहे हैं सॉफ्टवेयर इंजीनियर अनिरुद्ध।

28-12-2022 06:02 PM

टिहरी:- 

    एक ऐसा सॉफ्टवेयर इंजीनियर विदेशी कंपनी के लिए कर रहा है ऑनलाइन नोकरी, गांव में बागवानी कर ग्रामीणों को दे रहे है रोजगार ।

    जहां एक ओर पूरा पहाड़ पलायन का डंस झेल रहा है वहीं टिहरी जिले के घनसाली विधानसभा के सुनार गांव निवासी अनिरुद्ध नेगी ने गांव में बागवानी कर मिसाल कायम की है ।टिहरी जिले के घनसाली विधानसभा के सुनार गांव निवासी अनिरुद्ध नेगी USA में सॉफ्टवेयर इंजीनियर के पद पर ऑनलाइन कार्यरत थे कोरोना काल के बाद वह स्वदेश लौटे और अब गांव से ही ऑनलाइन के माध्यम से कंपनी में कार्य करने के साथ-साथ गांव में ही बागवानी कर अच्छा मुनाफा कमा रहे हैं।

    अनिरुद्ध नेगी ने खबर उत्तराखंड की पर खास बातचीत में कहा है कि जिस तरह पहाड़ का युवा लगातार बेरोजगारी की मार को देखते हुए पलायन कर रहा है गांव के गांव खाली होते जा रहे हैं जिसके लिए उन्होंने पहाड़ में ही पहाड़ के युवाओं को जागरूक करने के लिए बागवानी पर विशेष ध्यान देते हुए पहाड़ के युवाओं को स्वरोजगार की प्रेरणा दे रहे हैं।

    अनिरुद्ध नेगी का कहना है कि उनके दादा जी गांव से पलायन कर शहर की ओर चले गए थे उनके पिता भी शहर में ही रहे हैं उनकी शिक्षा दीक्षा भी शहर में हुई है उनके पिता धनपाल सिंह नेगी जी गढ़वाल मंडल विकास निगम में नोकरी करते थे रिटायर्ड होने के बाद उनके पिता ने गांव की ओर रुख किया और बागवानी की ओर विशेष ध्यान देते हुए गांव के कई एकड़ भूमि पैट पुलम, अखरोट, कीवी, अमरूद, आम आदि की बागवानी की जिसके बाद लोकडाउन होते ही अनिरुद्ध नेगी भी घर की ओर आये तो उन्होंने देखा कि इससे गांव का विकास पहाड़ो से पलायन रुक सकता है तो उन्होंने भी अपने पिता के साथ बागवानी में हाथ बताना शुरू किया अनिरुद्ध का कहना है कि उनका फोकस है कि वह विदेशी फलो का उत्पादन यहां पर करना चाहते है वो मानते हैं कि कश्मीर और हिमाचल की तर्ज पर अगर उत्तराखंड में भी बागवानी पर ध्यान दिया जाय तो उत्तराखंड में भी कई प्रकार के फलों की खेती की जा सकती है। 

दादा कर चुके थे पलायन घर हो चुका था खण्डर

    अनिरुद्ध नेगी के दादा के गांव से पलायन करने के बाद उनका पैतृक घर पूरी तरह से खण्डर में तब्दील हो चुका था गांव के 50 फीसदी से अधिक लोग पलायन कर चुके हैं फिर से एक बार अनिरुद्ध नेगी ने अपने पुराने घर को डेकुरेट कर फिरसे तैयार किया है usa में लाखों की सैलरी लेने वाले अनिरुद्ध के गांव की ओर रुझान देखकर ग्रामीणों सहित स्थानीय लोगों को कुछ सीख लेने की आवश्यकता है जिससे आज पहाड़ का पलायन कुछ हद तक रुक सके।


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