Uttarkashi: मानव वन्यजीव संघर्ष न्यूनीकरण की दिशा में वन विभाग की सक्रिय पहल, संवेदनशील क्षेत्रों में रात्रि गश्त और आधुनिक उपकरणों से निगरानी
14-12-2025 06:57 PM
उत्तरकाशी
वरिष्ठ पत्रकार ओंकार बहुगुणा की कलम से:- मानव-वन्यजीव संघर्ष की बढ़ती घटनाओं को देखते हुए अपर यमुना वन प्रभाग बड़कोट द्वारा संवेदनशील क्षेत्रों में संघर्ष को कम करने के लिए प्रभावी कदम उठाए जा रहे हैं। प्रभागीय वनाधिकारी श्री रविंद्र पुंडीर के निर्देशन में वन विभाग की टीम द्वारा लगातार रात्रि गश्त के साथ-साथ दिन के समय ग्रामीणों के साथ बैठकें कर उन्हें आवश्यक सावधानियां अपनाने के लिए जागरूक किया जा रहा है।
इस अभियान के तहत रवांई रेंज के डख्याट गांव, यमुनोत्री रेंज के खरसाली एवं बीफ गांवों तथा आसपास के संवेदनशील क्षेत्रों में विभिन्न सुरक्षा उपकरणों के साथ नियमित रात्रि गश्त की जा रही है। वन विभाग द्वारा ग्रामीणों के घरों के आसपास और मुख्य मार्गों की ओर फॉक्स लाइट, ऐनाइडर, स्मार्ट स्टिक जैसे आधुनिक उपकरण लगाए गए हैं, जिससे जंगली भालू मानव बस्तियों की ओर न आएं।
इसके अलावा वन विभाग द्वारा स्थानीय जनप्रतिनिधियों, युवक मंगल दल एवं महिला मंगल दल के सहयोग से संवेदनशील मार्गों और गांवों के आसपास झाड़ियों व घनी वनस्पति को बुश कटर की सहायता से साफ किया जा रहा है, ताकि भालू को छिपने के लिए स्थान न मिल सके। साथ ही संवेदनशील क्षेत्रों में ड्रोन के माध्यम से भी भालू की गतिविधियों पर निगरानी रखी जा रही है।
वन विभाग की इस पहल को क्षेत्रीय ग्रामीणों ने सराहा है। विशेष रूप से यमुनोत्री रेंज के अंतर्गत ग्रामीणों का कहना है कि वन विभाग की निरंतर सक्रियता, आधुनिक उपकरणों के प्रयोग और नियमित रात्रि गश्त के चलते पिछले दो माह की तुलना में वर्तमान समय में भालू की मानव बस्तियों में आवाजाही में उल्लेखनीय कमी आई है।
ग्रामीणों ने उम्मीद जताई कि यदि इसी प्रकार वन विभाग के प्रयास निरंतर जारी रहे तो भविष्य में मानव-वन्यजीव संघर्ष की घटनाओं पर प्रभावी रूप से नियंत्रण पाया जा सकेगा।